"Chand Aasaar Geet Ke" Main Chal Diya Safar Me... (Meri Kalam Se...)
"चंद आशार गीत के"
---मैं चल दिया सफर में---
मैं चल दिया सफर में
तन्हा ही- तन्हा ही
अपना जुनूने-ख्याल लेकर
ख़याले-जूनून रहा सवार में
मैं चल दिया सफर में
तन्हा ही- तन्हा ही
वगैर किसी मुश्किल के
वगैर किसी फुर्सत के
मैं चल दिया सफर में
तन्हा ही-तन्हा ही
लेकिन मेरा अख्तियार है
मेरे खुदा पर
वो मुकम्मल कर ही देगा
इस सफर में
मैं चल दिया सफर में
तन्हा ही-तन्हा ही
सो सोचता कुछ नहीं
मैं चल दिया सफर में
तन्हा ही...
मेरी कलम से...
By- Suhail Anwar
suhailanwar911@gmail.com
---मैं चल दिया सफर में---
मैं चल दिया सफर में
तन्हा ही- तन्हा ही
अपना जुनूने-ख्याल लेकर
ख़याले-जूनून रहा सवार में
मैं चल दिया सफर में
तन्हा ही- तन्हा ही
वगैर किसी मुश्किल के
वगैर किसी फुर्सत के
मैं चल दिया सफर में
तन्हा ही-तन्हा ही
लेकिन मेरा अख्तियार है
मेरे खुदा पर
वो मुकम्मल कर ही देगा
इस सफर में
मैं चल दिया सफर में
तन्हा ही-तन्हा ही
सो सोचता कुछ नहीं
मैं चल दिया सफर में
तन्हा ही...
मेरी कलम से...
By- Suhail Anwar
suhailanwar911@gmail.com
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